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आईएसएम पटना के एनएसएस सेल ने ‘ग्रीनिज्म इको-क्लब’ का गठन किया

आईएसएम पटना, 1 मार्च 2025: इंटरनेशनल स्कूल ऑफ मैनेजमेंट, पटना (आईएसएम पटना) के एनएसएस सेल के इको-क्लब को अब आधिकारिक रूप से "ग्रीनिज्म इको-क्लब" नाम दिया गया है। यह निर्णय शनिवार, 1 मार्च 2025 को आयोजित एक आम बैठक में लिया गया। इस आयोजन का नेतृत्व निदेशक, डॉ. वी. बी. सिंह ने किया, जबकि समन्वयक नीरू कुमारी रहीं। कार्यक्रम में पर्यावरण संगठन तरुमित्र, पटना का विशेष सहयोग रहा।

बैठक में छात्रों, शिक्षकों और गैर-शिक्षण कर्मचारियों ने भाग लिया। इसमें आने वाले महत्वपूर्ण आयोजनों, जैसे अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 2025 और होली उत्सव पर चर्चा हुई। इस दौरान, तरुमित्र पटना की यूथ कोऑर्डिनेटर, देवप्रिया दत्ता ने पर्यावरण संरक्षण पर एक प्रेरक व्याख्यान दिया। इसके बाद एनएसएस स्वयंसेवकों ने इको-क्लब के नए नाम के लिए मतदान किया। दस नामों में से "ग्रीनिज्म इको-क्लब" को सबसे अधिक समर्थन मिला।

इको-फ्रेंडली होली और महिला दिवस को समर्पित विशेष पहल

पर्यावरण संरक्षण के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को दर्शाते हुए, क्लब ने अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस (8 मार्च) को "मदर अर्थ" को समर्पित करने का निर्णय लिया। एनएसएस स्वयंसेवक पटना के सार्वजनिक स्थलों पर नुक्कड़ नाटक करेंगे, जिसमें ऑर्गेनिक होली मनाने का संदेश दिया जाएगा। वे फूलों, हल्दी, धनिया पाउडर, आटे, कॉर्न स्टार्च इत्यादि से बने प्राकृतिक रंगों के उपयोग को बढ़ावा देंगे और हानिकारक रासायनिक रंगों से बचने का आह्वान करेंगे।

आईएसएम पटना के परिसर में भी इस वर्ष केवल जैविक रंगों से होली मनाई जाएगी, जिससे संस्थान की पर्यावरण चेतना को और बल मिलेगा। यह पहल न केवल धरती मां को रासायनिक रंगों के दुष्प्रभाव से बचाने में सहायक होगी, बल्कि जल संरक्षण और पारंपरिक मूल्यों को भी प्रोत्साहित करेगी।

पर्यावरण जागरूकता में आईएसएम पटना की अग्रणी भूमिका

संस्थान की एडमिन, नीरू कुमारी ने पर्यावरण शिक्षा के महत्व पर जोर देते हुए कहा,

"हम सभी के लिए यह गर्व की बात है कि हमें तरुमित्र की देवप्रिया दत्ता का मार्गदर्शन मिला। उनका कार्य पर्यावरण चेतना को बढ़ावा देने में बेहद प्रभावशाली रहा है। उनका व्याख्यान हमारे छात्रों में सतत विकास की संस्कृति विकसित करने में महत्वपूर्ण योगदान देगा।"

छात्रों की भूमिका पर बल देते हुए उन्होंने कहा, "हमारे युवा भविष्य के संरक्षक हैं। उन्हें पर्यावरण संरक्षण की अपनी जिम्मेदारी को समझना होगा। उनकी जागरूकता और प्रतिबद्धता आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा बनेगी और एक हरित भविष्य की दिशा में मार्गदर्शन करेगी।"

इस पहल के माध्यम से आईएसएम पटना पर्यावरण जागरूकता और सतत विकास को बढ़ावा देने में अपनी अग्रणी भूमिका को और मजबूत कर रहा है।